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जमा बिल में ब्याज नहीं कम किया और भेज दिया भारी-भरकम बिल, बिल सुधारने का दिया आदेश

अगर आप विद्युत मंडल को अग्रिम जमा करते हैं, तो सोच-समझ लें। हो सकता है कि मंडल इस पर ब्याज की राशि आपके बिल में एडजस्ट नहीं करे और आपको भारी-भरकम बिजली बिल भेज दे। एक मामले में उपभोक्ता फोरम ने मंडल को आदेश दिया कि वह ब्याज की गणना बिल में समायोजित करे। मामला ग्वालियर की रामबेटी पाल का है। उनका कहना था कि विद्युत मंडल ने बिलों में मनमाने तरीके से जोड़कर राशि वसूलने की कोशिश की है। उसकी 12,321 रुपए अग्रिम जमा राशि थी, जिस पर कुछ माह तक 9 प्रतिशत ब्याज जोड़ा गया, किन्तु जनवरी 2014 के बिल में ब्याज राशि नहीं जोड़ी गई। फरवरी के बिल में सुरक्षा राशि 790 रुपए दशाई गई, जिस पर मात्र 8.62 रुपए ब्याज जोड़ा गया, जबकि उसकी 8,659 रुपए एवं 790 रुपए की अग्रिम राशि पर ब्याज की गणना नहीं की गई।

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इस प्रकार, मंडल का समस्त कृत्य सेवा में कमी व अनुचित व्यापार व्यवहार की परिधि में आता है। फोरम ने मंडल को नोटिस दिया, जिसके जवाब में उसने कहा कि परिसर में संयोजित एवं उपयोग किए जाने वाले लोड के आधार पर मीटर में सही एवं वास्तविक खपत दर्ज न होने से खपत का आकलन कर नियमानुसार बिल जारी किए गए हैं। मंडल द्वारा परिवादी रामबेटी की ऋणात्मक राशि पर नियमानुसार ब्याज प्रदान किया गया है, किन्तु माह जनवरी 2014 से कम्प्यूटर के सॉफ्टवेयर में उक्त सुविधा उपलब्ध नहीं है, जिसमें कुछ समय लगना संभव है। मंडल द्वारा समय-समय पर परिवर्तित होने वाली ब्याज की दर के अनुरूप नियमानुसार ब्याज प्रदान किया गया है। फोरम ने माना कि मंडल ने भी स्वीकार किया है कि कम्प्यूटर में सॉफ्टवेयर की समस्या से जमा पर ब्याज की गणना नहीं की जा सकी है। जनवरी 2014 से जुलाई 2014 माह तक भी शिकायत का समाधान न किया जाना मंडल की सेवा में कमी को दर्शाता है। यह सही है कि मंडल द्वारा परिवादी को खपत के मनमाने देयक जारी किए जा रहे हैं। परिवादी का विद्युत कनेक्शन 1500 वॉट विद्युत भार के लिए स्वीकृत है, जिस पर मंडल द्वारा कुछ माहों में 70 यूनिट एवं कुछ माहों में 130 यूनिट खपत दिखाई है।
यद्यपि ग्वालियर के मौसम एवं सामान्य विद्युत खपत को देखते हुए मीटर द्वारा मीटर खपत शून्य दर्शाए जाने की स्थिति में उक्त खपत को अनुचित माने जाने का कोई कारण दर्शित नहीं होता। मंडल के लिए यह आवश्यक है कि वह परिवादी का विद्युत मीटर परिवर्तित कर दे, ताकि शिकायत का स्थायी समाधान हो सके। अत: उपभोक्ता फोरम ने आदेश दिया कि परिवादी रामबेटी पाल की अग्रिम जमा विद्युत सुरक्षा निधि राशि पर वर्तमान तक नियमानुसार देय ब्याज दर से ब्याज की गणना करते हुए राशि का समायोजन आगामी नियमित विद्युत देयक में करे। अनावेदक परिवादी के विद्युत कनेक्शन पर नवीन सुचारु विद्युत मीटर स्थापित करे। मंडल द्वारा परिवादी को प्रकरण का व्यय 1200 रुपए अदा किया जाएगा, जो उसके आगामी माह के नियमित देयक में समायोजन योग्य होगा।

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