UPSC सिविल सेवा परीक्षा में फेल उम्मीदवारों की चमकेगी किस्मत!

आ सकता है बड़ी मल्टीनेशनल कंपनियों से जॉब का ऑफर

इंदौर, (री-डिस्कवर इंडिया न्यूज)। गौरतलब है कि संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) ने प्रतियोगी परीक्षाएं देने वाले छात्रो के अंक ऑनलाइन साझा करने का निर्णय लिया था। यह निजी क्षेत्र में भर्तियों को बढ़ावा देने के लिए सरकार के प्रस्ताव का हिस्सा था। यूपीएससी ने कहा था अंकों को सार्वजनिक करने से अन्य नियोक्ताओं को अच्छे, योग्य उम्मीदवारों की पहचान करने में मदद मिलेगी। यूपीएससी ने कहा था कि आयोग ने ऐसे छात्रों की शैक्षणिक योग्यता और परीक्षा में मिले अंक जैसी सूचनाएं साझा करने का फैसला किया है, जिन्होंने परीक्षा के अंतिम चरण (इंटरव्यू) में भाग लिया, लेकिन उनका अंतिम चयन नहीं हुआ।
इस वर्ष 5 अप्रैल, 2019 को संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) ने सिविल सेवा परीक्षा 2018 का फाइनल रिजल्ट घोषित किया था। यूपीएससी ने सिविल सेवा परीक्षा 2018 के उन उम्मीदवारों के माक्र्स जारी कर दिए हैं जिन्होंने इंटरव्यू दिया था और दुर्भाग्यवश उनका फाइनल सेलेक्शन नहीं हो पाया था। यूपीएससी की वेब साईट 222.ह्वश्चह्यष्.द्दश1.द्बठ्ठ पर इन उम्मीदवारों के माक्र्स जारी किए हैं। यूपीएससी ने उन उम्मीदवारों के माक्र्स जारी किए हैं जिन्होंने इंटरव्यू दिया था और जिन्होंने आवेदन-पत्र में अपनी डिटेल्स सार्वजनिक करने का ऑप्शन चुना था। यूपीएससी ने ऐसे 939 उम्मीदवारों के कुल 2025 में से कितने माक्र्स मिले है वो जारी कर दिए हैं।

इन उम्मीदवारों की डिटेल्स 1 वर्ष तक मान्य रहेगी

यूपीएससी ने 5 अप्रैल को 812 वैकेंसी के लिए 759 उम्मीदवारों का रिजल्ट घोषित किया था। इसके बाद यूपीएससी ने 11 अक्टूबर को केंद्र सरकार की मांग के मुताबिक शेष वैकेंसी के लिए 53 और उम्मीदवारों की रिजर्व लिस्ट जारी की थी। 2018 की सिविल सेवा परीक्षा में आईआईटी बॉम्बे से पास आउट कंप्यूटर साइंस इंजीनियर कनिष्क कटारिया ने टॉप किया था।

प्राइवेट व मल्टीनेशनल कंपनियों के जॉब में मिलेगा फायदा

यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा 2018 में इंटरव्यू देने वाले असफल उम्मीदवारों के माक्र्स और अन्य डिटेल्स भारत सरकार के आदेश के मुताबिक जारी किए गए हैं। यूपीएससी ने अपने नोटिस में कहा है कि भारत सरकार के डिपार्टमेंट ऑफ पर्सनल एंड ट्रेनिंग के आदेश के मुताबिक इंटरव्यू के लिए चयनित उम्मीदवारों के माक्र्स जारी कर दिए गए हैं। इससे तमाम अन्य कंपनियों व नियोक्ताओं को योग्य उम्मीदवारों का एक डाटाबेस तैयार करने में मदद मिलेगा। इस स्कीम के तहत अन्य कंपनियों को इस डाटाबेस की मदद से योग्य उम्मीदवार मिल सकेंगे। नियोक्ता इस डाटाबेस में से उम्मीदवारों के माक्र्स व डिटेल्स चेक करेंगे और उन्हें जॉब का ऑफर देंगे। ऐसे में कभी भी इंटरव्यू में हिस्सा लेने वाले उम्मीदवारों के पास प्राइवेट जॉब का ऑफर आ सकता है।

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