@री डिस्कवर इंडिया न्यूज इंदौर 

188 करोड़ बैंक लोन फ्रॉड के बाद 58 करोड़ रुपए के बैंक लोन फ्रॉड में इंदौर रुचि सोया ग्रुप के कुख्यात नटवर उमेश शाहरा को क्लीन चिट देने के लिए CBI अधिकारियों ने कानून का न सिर्फ मजाक उड़ाया वरन् निकम्मेपन की सारी हदें पार कर दी!!

इंदौर सीबीआई एवं आर्थिक अपराध के विशेष न्यायिक मजिस्ट्रेट ने अधिकारियों की जांच और आरोपियों के खिलाफ पेश की गई खात्मा रिपोर्ट पर कई गंभीर सवाल खड़े किए!

इंदौर के रुचि सोया ग्रुप के स्वर्गीय कैलाशचंद्र शाहरा के बिरला इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी BITS पिलानी और इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट IIM अहमदाबाद से ग्रेजुएट पुत्र उमेश शाहरा को बैंकों से करोड़ों अरबों रुपए फर्जी और कूटरचित दस्तावेजों के आधार पर बैंक अधिकारियों के साथ मिलीभगत कर हड़पने में महारथ हासिल हैं। इसके खिलाफ कई बैंकों और सरकारी संस्थानों से करोड़ों अरबों रुपए की धोखाधड़ी और गबन के कई अपराध दर्ज है।

और अब, बैंको द्वारा इसके और इसके साथियों के खिलाफ सीबीआई में दर्ज करवाई गई ऍफ़ आई आर में इसे क्लीन चिट दिलवाने में सी बी आई के अधिकारियों, जांचकर्ताओं और सरकारी वकीलों ने न्यायालय में कानून की पूरी धज्जियां बिखरने में कोई कसर बाकी नहीं रख रहे है! 

बेहद शर्मनाक और खतरनाक कानूनी खेल, जांच एजेंसियों के अधिकारियों और सरकारी वकीलों के द्वारा करोड़ो, अरबों रुपये के बैंक लोन फ्रॉड और अन्य बड़े आर्थिक अपराधों के सफेद पोश अपराधियों के साथ मिलकर उन्हें क्लीन चिट देने के लिए जांच और न्यायालय में पेश किए गए चालान के साथ खेला जा रहा है।

अभियुक्तों को क्लीन चिट दिलवाई जा रही है! ऍफ़ आई आर रद्द करवाई जा रही हैं! अभियुक्तों पर लगे सभी आरोपों की खात्मा रिपोर्ट पेश की जा रही हैं!

दिनांक 9/2/2021 को रमेश चंद्र साहू DGM, यूको बैंक इंदौर की लिखित शिकायत के आधार पर CBI भोपाल द्वारा मेसर्स रुचि एक्रोनी इंडस्ट्रीज लिमिटेड और इसके डायरेक्टर उमेश शाहरा, शंभूनाथ सदावर्ती, इशिता खंडेलवाल, यामिनी जैन, प्रमोद कुमार जालानी और अज्ञात लोकसेवक (बैंक अधिकारियों) के खिलाफ यूको बैंक को 58 करोड़ रूपए धोखाधड़ी से लोन के माध्यम से प्राप्त कर, पूरा लोन हड़पने और बैंक को एक फूटी कौड़ी न वापस करने के आरोप में 420, 120 B और भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा में ऍफ़ आई आर दर्ज की थी।

 10/2/2025 को इस ऍफ़ आई आर की जांच CBI नई दिल्ली को अंतरित की गई थी।

दिनांक 26/11/2025 को सी बी आई दिल्ली की तरफ से मेसरकारी वकील श्रीमती सवीना के द्वारा इंदौर विशेष न्यायिक मजिस्ट्रेट CBI एवं आर्थिक अपराध इंदौर के मजिस्ट्रेट जय कुमार जैन के न्यायालय में अभियुक उमेश शाहरा, इशिता खंडेलवाल, यामिनी जैन, प्रमोद कुमार जालानी और बैंक अधिकारियों के नाम यह लिखकर हटा दिए कि इनके खिलाफ कोई अपराध नहीं पाया गया है! 

सिर्फ शंभूनाथ सदावर्ती और पवन जैन के खिलाफ चालान पेश किया गया!

न्यायालय ने सीबीआई दिल्ली द्वारा पेश किए गए चालान में उमेश शाहरा और अन्य अभियुक्त गणों के खिलाफ पेश किए गए खात्मा रिपोर्ट पर कई गंभीर सवाल उठाते हुए कड़ी टिप्पणी करते हुए लिखा कि उमेश शाहरा और अन्य अभियुक्तों के विरुद्ध दर्ज ऍफ़.आई.आर में अपराध पर निष्पक्ष जांच न कर न्यायालय के माध्यम से की जाने वाली निष्पक्ष जांच को भी प्रभावित किया गया है। इसके संबंध में जांच अधिकारी और जांच का सुपर विज़न करने वाले अधिकारियों की जवाबदेही तय किया जाना आवश्यक हैं।

और सीबीआई द्वारा पेश किए गए खात्मा रिपोर्ट को वापस कर दिया। और विस्तृत आदेश के साथ CBI नई दिल्ली को आदेश की कॉपी भेजने के आदेश दिए।

@प्रदीप मिश्रा री डिस्कवर इंडिया न्यूज इंदौर

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

More News