@री डिस्कवर इंडिया न्यूज इंदौर 

इंदौर शहर के प्रतिष्ठित ऑटोमोबाइल व्यवसायी महेंद्र राजपाल, पत्नी नीता राजपाल,पुत्र सुमित राजपाल और 3 अन्य सहयोगी जाएंगे जेल!!

भारतीय स्टेट बैंक इंदौर से 12 करोड़ रुपए का लोन लेकर फर्जी, कूट रचित और बैंक को धोखे में रखकर, मिथ्या स्टॉक की जानकारी देकर, पूरा पैसा हड़प करने के आरोप में राज्य आर्थिक अपराध (EOW) द्वारा सन् 2020 में दर्ज की गई ऍफ़ आई आर में सितम्बर 2025 में न्यायालय में पेश किए गए चालान के मुख्य अपराधी राजपाल ऑटो लिंक के डायरेक्टर महेंद्र राजपाल, पत्नी नीता राजपाल, पुत्र सुमित राजपाल और जितेन्द्र भावसार ( डमी डायरेक्टर मतलब कम्पनी का सामान्य नौकर जिसे सिर्फ नाम के लिए डायरेक्टर बनाया जाता हैं) की अग्रिम जमानत अपर सेशन न्यायालय इंदौर के जज डॉ अकबर शेख ने खारिज कर दी है। 
आरोपियों द्वारा दिवालिया प्रक्रिया की कारवाई NCLT में चल रही है की दलील को न्यायालय ने मानने से इंकार कर दिया है क्योंकि बैंक के करोड़ों रुपए गबन करने के बाद दिवालिया घोषित करने का आवेदन NCLT में दायर किया था।
इंदौर शहर में पिपलियराव, राजीव गांधी चौराहे पर राजपाल ऑटो लिंक प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के नाम से फोर्ड कारों की डीलरशिप का संचालन करने वाले डायरेक्टर महेंद्र राजपाल, नीता राजपाल और सुमित राजपाल ने भारतीय स्टेट बैंक खेल प्रशाल शाखा इंदौर से 12 करोड़ रुपए की क्रेडिट लिमिट लेकर फोर्ड कंपनी से कारे खरीदकर फर्जी, कूट रचित और बैंक को धोखे में रखकर रतलाम के गैलेक्सी रतलाम व्हीकल्स प्राइवेट लिमिटेड जिसके डायरेक्टर अब्बास मोईज अली घासवाला और उसकी पत्नी आरेफा घासवाला के साथ षड्यंत्र कर उनके माध्यम से बाजार में बेच दी। और बैंक को एक रुपया भी नहीं जमा करवाया। न ही बैंक को स्टॉक के बारे में कोई जानकारी दी।
बिना बैंक को सूचना दिए शातिर महेन्द्र राजपाल और पत्नी नीता राजपाल ने कंपनी के डायरेक्टर पद से इस्तीफा दे दिया और कंपनी के नौकर को अपनी जगह डायरेक्टर पद पर नियुक्त कर दिया था।
राज्य आर्थिक अपराध शाखा इंदौर ने दिनांक 7/11/2020 को IPC की धारा 420,409,467,468, और 120 बी के तहत् महेंद्र राजपाल, पत्नी नीता राजपाल, पुत्र सुमित राजपाल, नौकर जितेंद्र भावसार,रतलाम के गैलेक्सी रतलाम व्हीकल्स प्राइवेट लिमिटेड जिसके डायरेक्टर अब्बास मोईज अली घासवाला और उसकी पत्नी आरेफा घासवाला के खिलाफ ऍफ़ आई आर दर्ज की थी। 
4 साल 11 महीने जांच के उपरांत EOW इंदौर ने 29 सितंबर 2025 को न्यायालय में चालान पेश किया था। आरोपी गढ़ न्यायालय में उपस्थित नहीं हुए हैं। दिनांक 14 /10/2025 को सभी आरोपियोंअग्रिम जमानत खारिज हो चुकी हैं।
@प्रदीप मिश्रा री डिस्कवर इंडिया न्यूज इंदौर

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